Vrindavan, September 25, 2025 TTB: ब्रजधाम वृंदावन ऐतिहासिक पल का साक्षी बना, जब देश की महामहिम राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने विश्व प्रसिद्ध ठाकुर बांके बिहारी मंदिर का पावन दर्शन किया। यह केवल एक धार्मिक अवसर नहीं था, बल्कि पूरे ब्रज क्षेत्र के लिए सांस्कृतिक और आध्यात्मिक गौरव का क्षण भी था।
पुष्प वर्षा और पारंपरिक स्वागत
महामहिम राष्ट्रपति का मंदिर परिसर में प्रवेश होते ही पारंपरिक पुष्प वर्षा द्वारा स्वागत किया गया। जैसे ही राष्ट्रपति जी ने मंदिर के दरवाजे में कदम रखा, पूरे परिसर में भक्तिमय वातावरण फैल गया।

Read More: वृन्दावन में महामहिम राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु का भव्य स्वागत, श्रद्धा और उत्साह का संगम
मंदिर के सेवायतों ने विधि-विधानपूर्वक ठाकुरजी के दर्शन कराए, और राष्ट्रपति जी ने चरणों में श्रद्धा और भक्ति से पुष्प अर्पित किए। इस दौरान उन्होंने राष्ट्र और समाज की उन्नति के लिए प्रार्थना भी की।
श्रद्धालुओं की आंखों में श्रद्धा और दिलों में गर्व की भावना झलक रही थी। जैसे ही राष्ट्रपति ने मंदिर में कदम रखा, “राधे-राधे” और “जय श्रीकृष्ण” के जयघोष से पूरा परिसर गूंज उठा। यह दृश्य केवल भव्य ही नहीं, अपितु भावनाओं और श्रद्धा से भी परिपूर्ण था।
read more: दरजीलिंग में AIMIM अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी का आगमन
सुरक्षा की कड़ी व्यवस्थाएं
महामहिम राष्ट्रपति के आगमन को देखते हुए जिला प्रशासन और पुलिस ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए। मंदिर परिसर और आसपास के क्षेत्रों में भारी पुलिस बल की तैनाती की गई।
श्रद्धालुओं की भीड़ को नियंत्रित करने और सभी को सुरक्षित दर्शन सुनिश्चित करने के लिए विशेष व्यवस्थाएं की गईं।
सुरक्षा और अनुशासन के बीच, भक्तों की भीड़ ने यह दिखाया कि वृंदावन में श्रद्धा और अनुशासन साथ-साथ चलते हैं।
स्थानीय लोगों में उत्साह का दृश्य
राष्ट्रपति के बांके बिहारी मंदिर दर्शन से स्थानीय लोगों और श्रद्धालुओं में गजब का उत्साह देखा गया। उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति का वृंदावन आगमन ब्रजभूमि के लिए गौरव का विषय है।
सभी वर्ग के लोग इस अवसर का हिस्सा बनने के लिए उत्साहित थे। बच्चे, युवा और वृद्ध सभी ने अपनी श्रद्धा व्यक्त की। मंदिर परिसर में हर तरफ आध्यात्मिक ऊर्जा और भक्ति भाव का माहौल था।
धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व
महामहिम राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु का यह दौरा न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण था, बल्कि सांस्कृतिक दृष्टि से भी एक ऐतिहासिक पल बन गया। बांके बिहारी मंदिर, जो कि ब्रज की सांस्कृतिक और धार्मिक पहचान है, आज राष्ट्रपति के पावन आगमन से और भी अधिक प्रतिष्ठित हो गया।
Read More: पीएम मोदी का ‘नवरात्रि तोहफ़ा’, मिडिल क्लास के लिए नए GST सुधार
इस मौके पर मंदिर और आस-पास के क्षेत्र में श्रद्धालुओं और नागरिकों ने अपने हृदय में गर्व और भक्ति का भाव अनुभव किया। यह क्षण यह संदेश देता है कि धार्मिक आस्था और राष्ट्रीय गौरव हमेशा साथ-साथ चलते हैं।
इस प्रकार, महामहिम राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु का बांके बिहारी मंदिर दर्शन ब्रजधाम के लिए न केवल एक धार्मिक अनुभव, बल्कि एक सांस्कृतिक और ऐतिहासिक घटना के रूप में हमेशा याद रहेगा।
पूरे वृंदावन में राधे-राधे की गूंज और भक्तों की श्रद्धा इस दिन को अविस्मरणीय बना गई। यह आयोजन यह दर्शाता है कि हमारे देश में धार्मिक आस्था और नेतृत्व का संगम कितना अद्भुत और प्रेरणादायक हो सकता है।
वास्तव में, ब्रजभूमि आज गर्व और श्रद्धा के साथ इस ऐतिहासिक क्षण का साक्षी बनी, और यह पल आध्यात्मिक ऊर्जा और राष्ट्रीय गौरव से परिपूर्ण रहा।
Follow Us: YouTube| Sanatan Guru Gyan | Breaking Hindi News Live | Website: Tv Today Bharat| X | FaceBook | Quora| Linkedin | tumblr | whatsapp Channel | Telegram
